मीरा सुधा सिन्धु : 16 विभागों में मीरा-पदों का विभाजन कर प्रत्येक विभाग की भूमिका तथा शब्दार्थ-भावार्थ सहित मीरा के पदों का सबसे बड़ा संग्रह, परम मीरा-भक्त स्वामी आनन्द स्वरूपजी ने सन् 1957 में ‘मीराँ-सुधा-सिन्धु’ ग्रन्थ का प्रकाशन ‘श्री मीराँ प्रकाशन समिति’, भीलवाड़ा द्वारा करवाया था। मीरा जैसी अनन्य कृष्णभक्त एवं साधिका की भक्ति में निहित अध्यात्म, दर्शन, भक्तिशास्त्र और दिव्यप्रेम के भावों को परम मीरा भक्त स्वामी आनन्दस्वरूपजी के अतिरिक्त केवल आचार्य रजनीश ही सही ढ़ंग से व्याख्यायित कर पाये हैं। संशोधित-परिवर्द्धित संस्करण में दो-नये अध्याय जोड़े गये हैं :- (1) स्वामी आनन्द स्वरूपजी का जीवनवृत, तथा (2) ‘मीराँ-सुधा-सिन्धु’ ग्रन्थ का संक्षिप्त परिचय। चूँकि स्वामीजी द्वारा लिखित-सम्पादित मूल ग्रन्थ अब बाजार में उपलब्ध नहीं है, जबकि मीरा के अध्येताओं तथा शोधार्थियों के लिए तो यह ग्रन्थ मीरा को जानने का प्रवेश द्वार है, अतः सुधी पाठकों एवं अध्येताओं के हित में मीरा स्मृति संस्थान, चित्तौड़गढ़ ने राजस्थानी ग्रन्थागार, जोधपुर के सहयोग से इस ग्रन्थ के पुनः प्रकाशन का निर्णय किया है। हमें विश्वास है कि दो खण्डों में प्रकाशित यह ग्रन्थ अध्येताओं के लिए उपयोगी सिद्ध होगा।
Meera Sudha Sindhu Vol. 1, 2
मीरा सुधा सिन्धु
Author : Swami Anand Swaroop
Language : Hindi
Edition : 2018
ISBN : 9789387297005
Publisher : RAJASTHANI GRANTHAGAR
₹959.00
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