मीरा बाई : प्रामाणिक जीवनी एवं मूल पदावली : भक्तिमती मीरांबाई के प्रकाशित पदों में से कितने ही पदों की प्रामाणिकता को लेकर उहापोह बनी हुई थी। श्रीसिंहल ने भाषा और स्रोत की प्रामाणिकता के आधार पर मीरांबाई द्वारा रचित मूल पदों का संकलन और सम्पादन करके प्रथम बार सन् 2008 में ‘मेरे तो गिरधर गोपाल’ के नाम से सटीक छपवाया, जिसमें एक भी पद मौखिक परम्परा का नहीं है; सभी पद लिखित स्रोतों पर आधारित है। प्राचीनतम दो पद विक्रम संवत् 1631 के हैं। गुरुग्रंथ-साहब से विक्रम संवत् 1661 का पद लिया गया है। विक्रम संवत् 1642, 1695, 1701, 1713, 1727 आदि में लिखित ग्रंथों से 128 पद संकलित किए गए है। इस प्रकार, इस संकलन में मीराबाई द्वारा रचित 312 पदों के मूल रूप, संभावित रूप और वर्तमान में प्रचलित पाठ तथा अनेक पदों के उपलब्ध पाठांतर देकर उनकी टीका भी की गई है। टीका में व्याख्या और टिप्पणी भाग अत्यंत महत्वपूर्ण है, जिसमें अनेक सांशयिक ज्ञानों, वाक्यों, पंक्तियों का सप्रमाण, सविस्तार विवेचन है। ग्रंथ में मीराबाई की जीवनी से संबंधित ऐतिहासिक तथ्यों एवं साहित्यिक संदर्भों का विश्लेषण कर तर्कपूर्ण आंकलन प्रस्तुत किया गया है। जीवनी भाग में कई नए प्रामाणिक व इतिहासपुष्ट तथ्यों का उद्घाटन है। ‘मेरे तो गिरधर गोपाल’ का विद्वत समाज ने दिल खोलकर स्वागत किया। परिमाणतः पुस्तक 3-4 महिने में ही खत्म हो गई। सभी का सुझाव था कि पुस्तक पद्यात्मक न होकर शोधग्रंथ है। अतः इसका नाम शोधग्रंथ परक होना चाहिए। इसीलिए अब यह ग्रंथ ‘मीरांबाई: प्रामाणिक जीवनी एवम् मूल पदावली’ के नाम से प्रकाशित हो रहा है। मुझे विश्वास है कि श्रीसिंहल द्वारा अत्यंत परिश्रमपूर्वक निर्मित प्रस्तुत शोधपरक ग्रंथ साक्षात् भक्तिस्वरूपा मीराबाई की श्रीकृष्णार्पित प्रामाणिक जीवनी और उनके मूल पदों से संबंधित मतांतरों का निराकरण कर सकेगा।
Meera Bai : Pramanik Jivani Evam Mool Padawali
मीरा बाई : प्रामाणिक जीवनी एवं मूल पदावली
Author : Brajendra Kumar Singhal
Language : Hindi
Edition : 2019
ISBN : 9788189302412
Publisher : RG GROUP
₹900.00
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